मन के भावों को शब्दों की बांसुरी जब गुनगुनाती है तो कोरे कागज़ पर शब्द रास करने लगते है! और एक ऐसा वातावरण बन जाता है कि मन उस ओर एक पतंगे की तरह खिंचा चला जाता है, एक बेहतरीन साहित्य मन को सदा संतुष्टि देता है, जैसे कोई बांसुरी की धुन, तो पढ़िये और आनंद लीजिये बांसुरी के ये गीत..
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